फ़ास्ट न्यूज़ इंडिया उत्तराखंड उत्तराखंड परिवहन निगम की प्रबंध निदेशक रीना जोशी ने करीब 80 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे आईएसबीटी के निर्माण में ढिलाई पर नाराजगी जताई है। उन्होंने मातहत अधिकािरियों को आईएसबीटी का निर्माण कर रही कंसल्टेंसी से सख्ती से शेष कार्य कराने के निर्देश दिए। एमडी ने वर्तमान के साथ ही निर्माणाधीन बस अड्डे और डिपो की कार्यशाला का निरीक्षण किया। इस दौरान परिवहन निगम के अधिकारियों ने आईएसबीटी के निर्माण में कंसल्टेंसी सीआरएस कंपनी की लापरवाही का मामला एमडी के सामने उठाया। बताया कि वर्ष 2024 तक आईएसबीटी का निर्माण कार्य पूरा हो जाना चाहिए था, लेकिन अब तक ऐसा नहीं हुआ। नए बस अड्डे का काम अधूरा है। बसों को खड़ा करने के लिए समुचित जगह नहीं बनाई गई है। वर्ष 2021 में परिवहन विभाग को हस्तगत डिपो की कार्यशाला भवन में लगे टाइल्स गिर रहे हैं। इस वजह से एक एरिया को घेराबंदी कर बंद किया गया है। वहीं कार्यशाला परिसर में जल निकासी की कोई व्यवस्था नहीं है। मंडलीय प्रबंधक संचालन पूजा जोशी और डिपो के एआरएम केएस राणा ने एमडी को बताया कि कार्यशाला भवन से गिर रही टाइल्स से जानमाल का खतरा बना हुआ है। एमडी ने कहा कि जल्द से जल्द काम पूरा करना होगा। अन्यथा निगम आवश्यक कदम उठाएगा। इस दौरान मंडलीय प्रबंधक तकनीकी टीका राम आर्य और एआरएम को कार्यदायी संस्था से सख्ती से निर्माण कार्य कराने को कहा।
कार्यालय की छत पर डाल दी सीवर लाइन
आईएसबीटी का निर्माण कर रही कंसल्टेंसी की मनमानी इस कदर हावी है कि रोडवेज कार्यशाला के पहली मंजिल में बनाए गए शौचालयों की सीवरेज की पाइप लाइन भूतल पर बने कार्यालय के कक्षों की उलटी छत पर डाल दी गई है। कक्षों के भीतर सीवरेज लाइन देख एमडी ने कंसल्टेंसी के कर्मियों को खरीखोटी सुनाई।
